रुद्रपुर। बेबाक चर्चा
पार्षद सीटों में आरक्षण को लेकर जनता में रोष बढ़ता जा रहा है। वार्ड नंबर 10 के बाद अब वार्ड नंबर 37 की जनता ने आरक्षित सीट होने का विरोध किया है। वार्ड के लोगों का कहना है कि पार्षद की सीट सामान्य हो और हर योग्य उम्मीदवार दावेदारी कर सके।
वार्ड नंबर 37 के लोगों का कहना है कि आरक्षित सीट होने के कारण पार्षद की उम्मीदवारी के लिए तैयारी कर रहे लोगो में काफी रोष है। जनता का आरोप है कि बिना सर्वे किए ही सीट आरक्षित कर दी गई। बंगाली बाहुल्य क्षेत्र में अनुसूचित जाति की सीट घोषित की गई है। वार्ड में मात्र 5 प्रतिशत भी अनुसूचित जाति की जनता नही है। वार्ड निवासी फुदेना साहनी ने बताया कि विगत पार्षद चुनावों में भी सीट आरक्षित थीं। उन्होने बताया कि 200 अनुसूचित जाति की जनता के लिए सीट आरक्षित की जाती है, लेकिन दो हजार से ज्यादा जनता के वर्ग की सीट नही है। पिछले चुनाव में भी आरक्षित सीट होने के कारण बबलू सरकार पार्षद थे जो कि वार्ड निवासी नही है। लोगो का कहना है कि पार्षद की सीट सामान्य होनी चाहिए। किसी भी समाज का उम्मीदवार हो उसे पार्षद का चुनाव लड़ने का मौका मिले। पार्षद की सीट सामान्य नही हुई तो, पार्षद के चुनाव का बहिष्कार किया जाएगा।